Saturday, April 14, 2012


'प्रोफेसर की गिरफ्तारी से ममता की चारों तरफ किरकिरी'
कोलकाता:  पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी सहित तृणमूल कांग्रेस के कुछ नेताओं के अपमानजनक कार्टून कथित रूप से जारी करने पर जादवपुर विश्वविद्यालय के एक प्रोफेसर को गिरफ्तार किया गया और उन्हें शुक्रवार को जमानत पर रिहा कर दिया गया। प्रोफेसर की गिरफ्तारी की चौतरफा निंदा हो रही है।
 भौतिक रसायन के प्रोफेसर अम्बिकेश महापात्रा ने बाद में दावा किया कि उन्होंने केवल मनोरंजन के लिए अपने मित्रों को मेल भेजे थे। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शुक्रवार को जादवपुर विश्वविद्यालय के एक प्रोफेसर की गिरफ्तारी का बचाव किया और माकपा पर गैर जरूरी मुद्दों को उठाकर उन्हें बदनाम करने का आरोप लगाया। दूसरी तरफ महापात्रा ने आरोप लगाया कि तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने उनकी निर्दयता पूर्वक पिटाई की और गुरुवार रात को जबरन अपने बयान पर हस्ताक्षर करने के लिए बाध्य किया कि उन्होंने जानबूझकर कार्टून को इंटरनेट पर जारी किया क्योंकि वह मार्क्‍सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के सक्रिय कार्यकर्ता हैं। नेताओं, शिक्षाविदों, कलाकारों ने इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर हमला बताया है। प्रोफेसर और उनके पड़ोसी की गिरफ्तारी की चौतरफा आलोचना हुई है। तृणमूल के ही बागी सांसद कबीर सुमन ने कहा कि मैंने कार्टून देखा है, लेकिन मैं समझ नहीं पा रहा कि यह किस प्रकार साइबर अपराध है।हालांकि शनिवार को एक अंग्रेजी अखबार ने यह दावा किया है कि मकान सामग्री की सप्लाई से जुड़े स्थानीय तृणमूल नेता अंबिकेश महापात्रा और उनके पड़ोसी सुब्रत सेनगुप्ता से नाखुश थे। हालांकि प्रोफेसर अंबिकेश ने टीएमसी के साथ किसी भी ठेके से जुड़े होने की बात से इंकार किया है। उन्होंने इस आरोप को निराधार बताया है।

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